देख ! कोई तुझे बंधन में न डाल सके --अथर्व वेद
बंधन में कौन है विषयी !मुक्ति क्या है विषयों से वैराग्य --शंकराचार्य
जिन वस्तुओं से शोक उत्पन्न होता है और प्रिय से ही भय जो प्रिय वस्तुओं के बंधन से मुक्त है उसे न शोक है न भय --बुद्ध
मनुष्य स्वयं को बंधन में डालता है --टैगोर
यदि जीते जी तुम्हारे बंधन ना टूटे तो मरने पर क्या मुक्ति की आशा की जा सकती है --कबीर
बदला--क्या कोई कुत्ता तुम्हे काटे तो तुम कुत्ते को काटोगे---हिंदुस्तानी कहावत
बदले का भी बदला लिया जायेगा --जर्मन कहावत
बदले की आयु सौ वर्ष की हो जाय फिर भी उसके दांत दूध के ही रहते हैं --इटालियन कहावत
बदले की प्लेट ठंडी कर के खा --अंग्रेजी कहावत
बदला लेने से मनुष्य अपने दुश्मन जैसा हो जाता है लेकिन न लेने से वह उससे श्रेष्ठ बनता है --बेकन
बदला एक अमानुषिक शब्द है --सेनेका
अगर तेरा शत्रु भूखा है तो उसे खिला ,प्यासा है तो पिला योन तू उसके सर पर जलते हुए कोयले रख देगा --बाइबिल
अपने शत्रु के लिये अपनी भट्टी को इतना गर्म ना कर वह तुझे ही भून कर रख दे --शेक्सपियर
शत्रुओं को क्षमा करना बदला लेने का सबसे अच्छा तरीका हैं अज्ञात
बुद्धि --उसीकी बुद्धि स्थिर रह सकती है जिसकी इन्द्रियाँ उसके वश में हों --भगवान् कृष्ण
प्रथम हृदय है फिर बुद्धि ,प्रथम सिद्धांत फिर प्रमाण प्रथम कर्म फिर बुद्धि --गाँधी
पुराण सुनने के बाद श्मशान से लौटने के बाद जो बुद्धि होती है वह सदा बानी रहे तो कौन मुक्त नहीं हो सकता --संस्कृत सूक्ति
हंस दूध निकाल लेता है और पानी छोड़ देता है --कालिदास
उड़ने के बजाय हम जब झुकते हैं तब बुद्धि के अधिक निकट होते हैं --वर्ड्सवर्थ
बुद्धि आत्मा के इस प्रकार अधीन है जिस प्रकार कोई भोला पुरुष चालक स्त्री के अधीन हो --शेख सादी
तुम्हारी बुद्धि ही तुम्हारा गुरु है --शेक्सपियर
मन के हाथी को बुद्धि के अंकुश में रखो --रामकृष्ण परमहंस
बंधन में कौन है विषयी !मुक्ति क्या है विषयों से वैराग्य --शंकराचार्य
जिन वस्तुओं से शोक उत्पन्न होता है और प्रिय से ही भय जो प्रिय वस्तुओं के बंधन से मुक्त है उसे न शोक है न भय --बुद्ध
मनुष्य स्वयं को बंधन में डालता है --टैगोर
यदि जीते जी तुम्हारे बंधन ना टूटे तो मरने पर क्या मुक्ति की आशा की जा सकती है --कबीर
बदला--क्या कोई कुत्ता तुम्हे काटे तो तुम कुत्ते को काटोगे---हिंदुस्तानी कहावत
बदले का भी बदला लिया जायेगा --जर्मन कहावत
बदले की आयु सौ वर्ष की हो जाय फिर भी उसके दांत दूध के ही रहते हैं --इटालियन कहावत
बदले की प्लेट ठंडी कर के खा --अंग्रेजी कहावत
बदला लेने से मनुष्य अपने दुश्मन जैसा हो जाता है लेकिन न लेने से वह उससे श्रेष्ठ बनता है --बेकन
बदला एक अमानुषिक शब्द है --सेनेका
अगर तेरा शत्रु भूखा है तो उसे खिला ,प्यासा है तो पिला योन तू उसके सर पर जलते हुए कोयले रख देगा --बाइबिल
अपने शत्रु के लिये अपनी भट्टी को इतना गर्म ना कर वह तुझे ही भून कर रख दे --शेक्सपियर
शत्रुओं को क्षमा करना बदला लेने का सबसे अच्छा तरीका हैं अज्ञात
बुद्धि --उसीकी बुद्धि स्थिर रह सकती है जिसकी इन्द्रियाँ उसके वश में हों --भगवान् कृष्ण
प्रथम हृदय है फिर बुद्धि ,प्रथम सिद्धांत फिर प्रमाण प्रथम कर्म फिर बुद्धि --गाँधी
पुराण सुनने के बाद श्मशान से लौटने के बाद जो बुद्धि होती है वह सदा बानी रहे तो कौन मुक्त नहीं हो सकता --संस्कृत सूक्ति
हंस दूध निकाल लेता है और पानी छोड़ देता है --कालिदास
उड़ने के बजाय हम जब झुकते हैं तब बुद्धि के अधिक निकट होते हैं --वर्ड्सवर्थ
बुद्धि आत्मा के इस प्रकार अधीन है जिस प्रकार कोई भोला पुरुष चालक स्त्री के अधीन हो --शेख सादी
तुम्हारी बुद्धि ही तुम्हारा गुरु है --शेक्सपियर
मन के हाथी को बुद्धि के अंकुश में रखो --रामकृष्ण परमहंस
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